= शायरी नग्मे =
हमारे दोस्त परेशान है , अपनी परेशानी के कारण !
हम परेशान है , उनकी परेशानी के कारण !!
हम इस कदर मजबूर है ,चाहकर भी उनकी कोई मदद कर कर नहीं सकते !
वे मजबूर है ऐसे चाहकर भी हमसे मदद ले नहीं सकते !!
ये कैसा रिश्ता है दोस्ती का जो हम तोड़ नहीं सकते !
वे इस रिश्ते को निभा नहीं सकते !!
कुदरत भी हमारी जिन्दगी के साथ कैसा खेल खेलती है !
हम करीब है बहुत फिर भी बिच अपने दूरी महसूस करते है !!
न पूछो हाल हमारा तुम क्यूँ हुआ ये बेहाल है !
कोई कारण होता जो हम आपको बता पाते !
कारण तो हमारे अपने ही है जो हाल हमारा हुआ बेहाल है !!
कोई दुश्मन अगर होता हमारा तो उसे चोट देकर उसे हम खुद को बचा लेते !
अपनों को चोट देकर खुद को केसे बचायें !
उनका भी दर्द तो हमें ही होगा !!
===========
= बिनेश कुमार = २७/०२/ २०१३
हमारे दोस्त परेशान है , अपनी परेशानी के कारण !
हम परेशान है , उनकी परेशानी के कारण !!
हम इस कदर मजबूर है ,चाहकर भी उनकी कोई मदद कर कर नहीं सकते !
वे मजबूर है ऐसे चाहकर भी हमसे मदद ले नहीं सकते !!
ये कैसा रिश्ता है दोस्ती का जो हम तोड़ नहीं सकते !
वे इस रिश्ते को निभा नहीं सकते !!
कुदरत भी हमारी जिन्दगी के साथ कैसा खेल खेलती है !
हम करीब है बहुत फिर भी बिच अपने दूरी महसूस करते है !!
न पूछो हाल हमारा तुम क्यूँ हुआ ये बेहाल है !
कोई कारण होता जो हम आपको बता पाते !
कारण तो हमारे अपने ही है जो हाल हमारा हुआ बेहाल है !!
कोई दुश्मन अगर होता हमारा तो उसे चोट देकर उसे हम खुद को बचा लेते !
अपनों को चोट देकर खुद को केसे बचायें !
उनका भी दर्द तो हमें ही होगा !!
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= बिनेश कुमार = २७/०२/ २०१३
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